ओम स्टर्लिंग ग्लोबल विश्विद्यालय में 9 अगस्त (शुक्रवार) को “नवीन शिक्षण और अनुसंधान पद्धति” के महत्वपूर्ण विषय” पर ऑफलाइन एवं ऑनलाइन माध्यम से राष्ट्रीय कार्यशाला का आगाज़ हुआ। विश्विद्यालय के चांसलर डॉ पुनीत गोयल और प्रो चांसलर डॉ पूनम गोयल ने सभी शोधार्थियों और शिक्षको को बधाई देते हुए कहा की सभी को इस कार्यशाला का लाभ उठाना चाहिए। इस प्रकार के कार्यशाला के द्वारा शिक्षण और शोध पद्धति में सुधार लाया जा सकता है। अन्य जानकारी सांझा करते हुए उन्होंने बताया की दो दिवस के दौरान इस कार्यशाला में देश के अलग अलग जगह से विशेषज्ञों द्वारा संबंधित विषयों पर चर्चा की जाएगी। मुख्य अतिथि के रूप में प्रोफेसर (डॉ) सुगंधा सिंह (डीन, फैकल्टी इंजीनियरिंग और प्रौद्योगिकी, एस.जी.टी विश्विद्यालय, गुरुग्राम) ने कार्यशाला मे शिरकत की और “शिक्षाशास्त्र का प्रभाव” से संबंधित विषयों पर प्रकाश डाला। मौजूद सभी शोधार्थियों और शिक्षको को प्रेरित करते हुए नवीन शिक्षण और अनुसंधान पद्धति के बारे मे बताया। कार्यशाला के दूसरे चरण में सुश्री इंदु अग्रवाल (निदेशक, टैलेंटग्रो ग्लोबल, चंडीगढ़) , डॉ रीनू बत्रा ( सी.एस.ई विभाग, के.आर. मंगलम विश्वविद्यालय, सोहना, गुरूग्राम) और डॉ कमल ढांडा ( डीन इंजीनियरिंग और प्रौद्योगिकी, ओ.एस.जी.यू) ने संबंधित विषयो पर प्रकाश डाल कर जानकारी सांझा की।
विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो एन. पी. कौशिक ने ऑनलाइन एवं ऑफलाइन माध्यम से जुड़े सभी शोधार्थियों और शिक्षको को प्रेरित करते हुए कहा की इस कार्यशाला का उद्देश्य शोधार्थियों तथा शिक्षकों को नवीन शिक्षण विधि और अनुसंधान पद्धति से संबंधित विषयों की जानकारी प्रदान करवाना है। इसी कड़ी में प्रति कुलपति प्रो राजेंद्र सिंह छिल्लर ने शोधार्थियों को प्रोत्साहित करते हुए सभी को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और टेक्नोलॉजी की जानकारी देते हुए कहा की शिक्षा से संबंधित हर व्यक्ति को टेक्नॉलॉजी की जानकारी होने बेहद जरूरी है। यह कार्यशाला के संचालक डा. सुनैना और डा.अमित नांदल रहे। कार्यशाला में विश्विद्यालय के शिक्षको के साथ साथ देश की अलग अलग जगहों से शिक्षको और शोधार्थियों ने हिस्सा लिया।